एक प्यारा जहाँ
तुम्हे लेके चलूँ मै , एक प्यारे जहाँ में
जहाँ तितली हों उड़ती, और भँवरे मंडराते
एक ऐसी हो नगरी, जहाँ बहती हवा हो
बलखाती हो नदिया , धुन झरने सुनाएं
जहाँ तारों की छाया , हो सर पे हमारे
और मिट्टी की खुशबू , बड़ी सौंधी सी आये
तुम्हे लेके चलूँ मै , एक प्यारे जहाँ में |
जहाँ तितली हों उड़ती, और भँवरे मंडराते
जहाँ फूलों की चादर हो फैली सुहानी
और कोयल के गीतों से, गूंजे दिशायें
जहाँ बारिश की छम – छम में, नाचे मयूरा
और सूरज की किरणें , जग रौशन कर जायें
तुम्हे लेके चलूँ मै , एक प्यारे जहाँ में |
जहाँ तितली हों उड़ती, और भँवरे मंडराते |
अर्चना
अर्चना
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